पंचायती राज संस्था में आरक्षण नीति का अध्ययन
Keywords:
आरक्षण नीति, पंचायती राज, राजनीतिक प्रतिनिधित्व, सामाजिक न्यायAbstract
भारत में पंचायती राज संस्थाओं की स्थापना का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में लोकतांत्रिक शासन को मजबूत करना और समाज के कमजोर वर्गों को सशक्त बनाना था। संविधान के 73वें संशोधन अधिनियम, 1992 के तहत पंचायती राज संस्थाओं में अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातियों और महिलाओं के लिए आरक्षण नीति लागू की गई। इस अध्ययन में पंचायती राज संस्थाओं में आरक्षण नीति के प्रावधानों, उनके सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक प्रभावों का विश्लेषण किया गया है। अनुसंधान से स्पष्ट होता है कि आरक्षण नीति ने ग्रामीण शासन में हाशिये पर खड़े वर्गों की भागीदारी को बढ़ावा दिया है, जिससे उनके जीवन स्तर में सुधार हुआ है और सामाजिक न्याय की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति हुई है। हालांकि, इस नीति के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए विभिन्न चुनौतियों और समस्याओं का समाधान करना आवश्यक है। इस शोध का उद्देश्य इन पहलुओं का समग्र मूल्यांकन करना और भविष्य में नीति को और अधिक प्रभावी बनाने के लिए सुझाव प्रस्तुत करना है।
References
अंजु (2015) पंचायती राज और महिला सशक्तिकरण, इटरनेशनल जरनल आॅफ एपलाइड रिसर्च, 1(8), 331-334
डॅा संकठा, प्रसाद शुफला, सोनी जयनारायण (2019) महिला सशक्तिकरण की वर्तमान स्थितिः राजनैतिक सशक्तिकरण के परिपेक्ष्य में, इटरनेशनल जरनल रिव्यु एण्ड रिसर्च एण्ड रिसर्च इन सोशल साईस, 7(1), 139-146
भारत में आरक्षण का इतिहास (2023) आज तक न्यूज, 8 नवम्बर, न्यूज पत्रिका में प्रकाशित
भावोमिक, सोम्या (2023) महिला आरक्षण विधेयक, ओबजरवर रिसर्च फाऊडेशन, पत्रिका में प्रकाशित
प्रो0 गोपाल प्रसाद, निगम प्रगति (2024 महिला सशक्तिकरण में लोक कल्याणकारी योजनाओं की भूमिका, इटरनेशनल जरनल आॅफ क्रियेटिव रिसर्च थोटस, 12(3), 691-699
श्रीमती जैतपुरी दीपमाला (2022) भारत में महिला सशक्तिकरण से सम्बन्धित विधियॅा, आई.जे.सी.आर.टी., 10(6) 716-720
चंद्रा, एस. (2018) पंचायती राज संस्थाओं में आरक्षण नीति का प्रभावः एक अध्ययन भारतीय ग्रामीण विकास जर्नल, 45(3) 123-135
शर्मा, पी. (2017) पंचायती राज और महिलाओ का सशक्तिकरण ग्रामीण प्रशासनिक अध्ययन जर्नल, 29(2), 89-102
गुप्ता, आर. (2019) अनुसूचित जातियांे के लिए आरक्षण का सामाजिक प्रभाव भारत का सामाजिक न्याय जर्नल, 37(4), 201-215.
सिंह, के. (2020) पंचायती राज में महिलाओं की भागीदारीः चुनौतियों और अवसर महिला अध्ययन जर्नल, 22(1), 78-92
वर्मा, ए. (2016) अनुसूचित जनजातियांे के लिए आरक्षण नीति का विश्लेषण आदिवासी विकास जर्नल, 33(3), 150-162.
कुमार, जे. (2015) पंचायती राज में आरक्षण नीति के राजनीतिक प्रभाव राजनीतिक विज्ञान जर्नल, 41(2), 97-110
मिश्रा, डी. (2018) पंचायत चुनाव और आरक्षणः एक समालोचनात्मक अध्ययन चुनाव अध्ययन जर्नल, 27(2), 112-125
यादव, एन. (2019) ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं का सशक्तिकरण पंचायती राज की भूमिका ग्रामीण समाजशस्त्र जर्नल, 34(1), 45-59
चैधरी, पी. (2020) पंचायती राज संस्थाओं में अनुसूचित जातियो की भूमिका समाजशस्त्र जर्नल, 38(3), 174-188
पटेल, एल. (2017) पंचायती राज में आरक्षण नीति सामाजिक और आर्थिक प्रभाव विकास अध्ययन जर्नल, 26(4), 210-224
शर्मा, कुमुद (2000))पावर एण्ड रिपरजेन्टेशनः रिजर्ववेशन फॅार वुमेन इन इण्डिया, एशियन जरनल आॅफ वुमनेज स्टडीज, 6(1), 47-87
कोर, मनप्रीत (2023) भारत में महिला सशक्तिकरणः उभरते आयाम, 8(7)) 187-192
डाॅ. कुमार, आदित्य (2020))महिला सशक्तिकरण की चुनौतीः एक समीक्षा, 4(1), 48-54
कुमार, रवि (2021))ग्रामीण भारत में महिला सशक्तिकरण, 16(2), 65-69
शर्मा, रूपा (2001))दा वुमेन आॅफ रिजर्ववेशन बिल, 47(1), 51-66
डाॅ. कपूर अल्पना (2020))महिला सशक्तिकरण में शिक्षा का योगदान, 4 (2), 78-85
Downloads
Published
How to Cite
Issue
Section
License
Copyright (c) 2024 Innovative Research Thoughts
This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial 4.0 International License.