ख्याल गायन शैली एवं घराने का इतिहास पर अध्ययन
Keywords:
ख्याल, गायन, शैली, भारतीय, शास्त्रीय, घराने, मुहम्मद शाहAbstract
ख्याल गायन शैली उत्तर भारतीय शास्त्रीय संगीत की एक सुव्यवस्स्त्ित, प्रततस्ठित तिा बेजोड़ शैली है। ख्याल का प्रचलन शास्त्रीय या अभभजात संगीत में अिारहवीं शताब्दी में हुआ है। ख्याल की उत्पत्तत्त के सम्बन्ध में त्तवद्वानों के मतभेद हैं। कुछ त्तवद्वानों के अनुसार ख्याल का प्रवततन तेरहवीं शताब्दी में अमीर खुसरो द्वारा माना गया है। अिारहवीं शताब्दी में ध्रुपद से टूटकर त्तवशेष पररस्स्त्िततयों में ख्याल एक नई नवीन त्तवधा के रूप में त्तवकभसत एवं प्रचभलत हुआ। कहा जाता है कक 15 वीं शताब्दी में जौनपुर के नवाब सुल्तान हुसैन शकी ने ख्याल को पररचायक स्त्वरूप प्रदान ककया। 18वीं शताब्दी में यह अत्यधधक लोकत्तप्रय हुआ स्जस समय मुहम्मद शाह का शासन काल िा।
References
बृहस्त्पतत, डॉ०, (2004), संगीत त्रबन्तन प्रिम खण्ड अभभषेक, चण्डीगढ़ |
सक्सेना, डॉ0 मघुबाला, (1985), ख्याल शैली का त्तवकास त्तवशाल पस्ब्लकेशन, क रूिेर |
परांजपे, डॉ0 शरच्चन्द्र िीधर (1992), संगीत ब्रोध मध्यप्रदेश दहन्दी ग्रन्ि अकादमी, भोपाल।
भमि, रमेश, ददल् ली घराने में संगीत का योगदान, राधा पस्ब्लकेशन, नई ददल् ली-- 2011
बम्बन, डा. महेन्द्र प्रसाद, अवनद्य वाद्य भसद्धान्त एवं वादन परम्परा, अभभषेक पस्ब्लकेशन्स, चंडीगढ़, 2008
Downloads
Published
How to Cite
Issue
Section
License
This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial 4.0 International License.